1 लाख रुपयों की रिश्वत से रंग गए उसके हाथ : तहसील आफिस के आरआई को ACB की टीम ने किया गिरफ्तार
जमीन का काम कराने के बदले रिश्वत मांगना तहसील आफिस के आरआई को महंगा पड़ गया। पीड़ित ने एसीबी से शिकायत कर दी थी, जिस पर आज रिश्वतखोर पकड़ा गया।
RI संतोष देवांगन और तहसील कार्यालय
बिलासपुर। छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में एंटी करप्शन ब्यूरो की टीम ने घूसखोर रेवेन्यू इंस्पेक्टर को रंगे हाथों गिरफ्तार किया है। तहसील कार्यालय में पोस्टेड RI संतोष देवांगन को पीड़ित से 1 लाख की रिश्वत लेते पकड़ा गया है।
उल्लेखनीय है कि, एक पीड़ित ने ACB की टीम से RI संतोष देवांगन की शिकायत की थी। पीड़ित ने कहा था कि, जमीन से संबंधित काम कराने के लिए RI ने एक लाख रुपयों की मांग की। आरआरई ने पैसे लेकर आज शुक्रवार को बुलाया था।
एंटी करप्शन ब्यूरो की टीम
माफ करने की गुहार लगाता रहा रिश्वतखोर RI
ACB की प्लानिंग के मुताबिक शुक्रवार को 1 लाख नकद लेकर पीड़ित तहसील कार्यालय पहुंचा था। जैसे ही पीड़ित ने RI संतोष देवांगन को एक लाख दिये वैसे ही एसीबी की टीम ने रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया। एसीबी की टीम को देखकर आरआई हैरान रह गया और माफ करने की गुहार करता रहा।
हाईकोर्ट ने लगाई थी फटकार, बदले गए थे कर्मचारी
इससे पहले भी तहसील कार्यालय बिलासपुर में लेन-देन की शिकायतों पर हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस ने फटकार लगाई थी। समय पर काम नहीं होने और रिश्वत की मांग को लेकर घुमाए जाने को लेकर हाईकोर्ट में याचिका लगाई गई थी। हाई कोर्ट की फटकार के बाद सभी क्लर्कों, पटवारियों और आरआई का तबादला कर दिया गया था। फिर भी रिश्वतखोरी थमने का नाम नहीं ले रही है। आज की कार्यवाही के बाद यह स्पष्ट हो गया कि रिश्वतखोरी का खेल जारी है।
माफ करने की गुहार लगाता रहा रिश्वतखोर RI
ACB की प्लानिंग के मुताबिक शुक्रवार को 1 लाख नकद लेकर पीड़ित तहसील कार्यालय पहुंचा था। जैसे ही पीड़ित ने RI संतोष देवांगन को एक लाख दिये वैसे ही एसीबी की टीम ने रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया। एसीबी की टीम को देखकर आरआई हैरान रह गया और माफ करने की गुहार करता रहा।
हाईकोर्ट ने लगाई थी फटकार, बदले गए थे कर्मचारी
इससे पहले भी तहसील कार्यालय बिलासपुर में लेन-देन की शिकायतों पर हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस ने फटकार लगाई थी। समय पर काम नहीं होने और रिश्वत की मांग को लेकर घुमाए जाने को लेकर हाईकोर्ट में याचिका लगाई गई थी। हाई कोर्ट की फटकार के बाद सभी क्लर्कों, पटवारियों और आरआई का तबादला कर दिया गया था। फिर भी रिश्वतखोरी थमने का नाम नहीं ले रही है। आज की कार्यवाही के बाद यह स्पष्ट हो गया कि रिश्वतखोरी का खेल जारी है।