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राजौरी ब्लास्ट के 2 आतंकियों का पहलगाम हमले से कनेक्शन? NIA दोनों से पूछताछ कर जुटा रही सबूत

राजौरी ब्लास्ट के 2 आतंकियों का पहलगाम हमले से कनेक्शन? NIA दोनों से पूछताछ कर जुटा रही सबूत

राजौरी ब्लास्ट के 2 आतंकियों का पहलगाम हमले से कनेक्शन? NIA दोनों से पूछताछ कर जुटा रही सबूत

पहलगाम हमले के आतंकियों का अभी तक कोई सुराग नहीं मिला है। इस हमले की जांच NIA के हाथों में है। ऐसे में NIA 2023 के राजौरी बम ब्लास्ट के आतंकियों से पूछताछ कर रही है। NIA को शक है कि पहलगाम हमले में इन दोनों आतंकियों का भी हाथ हो सकता है। NIA की शुरुआती जांच की मानें तो पहलगाम हमले में 5-7 आतंकियों के होने की संभावना है।


पहलगाम आतंकी हमले की NIA कर रही है जांच। फाइल फोटो

 पहलगाम हमले के बाद जम्मू कश्मीर के चप्पे-चप्पे पर पुलिस और सुरक्षाबलों की नजर है। राष्ट्रीय सुरक्षा एजेंसी (NIA) ने इस आतंकी हमले की जांच अपने हाथों में ले ली है। इसी कड़ी में NIA 2023 के राजौरी ब्लास्ट में शामिल 2 आतंकियों से पूछताछ कर रही है।


मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, NIA को शक है कि राजौरी ब्लास्ट को अंजाम देने वाले दोनों आतंकियों का भी पहलगाम हमले में हाथ हो सकता है। NIA ने दोनों से सवाल पूछने शुरू कर दिए हैं।


राजौरी बम धमाका


2023 में जम्मू कश्मीर के राजौरी में हुए IED ब्लास्ट के बाद से ही यह दोनों आतंकी NIA के कब्जे में हैं। दोनों आतंकियों ने मिलकर इस बम ब्लास्ट को अंजाम दिया था। इस हमले में 2 बच्चों समेत 7 लोगों की मौत हुई थी और कई लोग गंभीर रूप से घायल थे।


NIA को है शकराजौरी ब्लास्ट को अंजाम देने वाले दोनों आतंकियों के नाम मुश्ताक और निसार है। NIA को शक है कि पहलगाम हमले में भी दोनों की अहम भूमिका हो सकती है। इसी सिलसिले में NIA दोनों आतंकियों से पूछताछ करके सबूत जुटाने की कोशिश कर रही है।

NIA कर रही है जांच

22 अप्रैल को पहलगाम आतंकी हमले के बाद NIA ने 27 अप्रैल को शिकायत दर्ज करते हुए जांच शुरू की थी। इसी कड़ी में NIA कई प्रत्यक्षदर्शियों और पीड़ित परिवारों के बयान लेकर आतंकी साजिश का पर्दाफाश करने की जद्दोजहद में जुटी है। NIA महाराष्ट्र, ओडिशा और पश्चिम बंगाल समेत कई अन्य राज्यों में पहलगाम हमले के पीड़ितों से बात कर चुकी है।


5-7 आतंकियों के होने की आशंकाNIA की शुरुआती जांच में संदेह है कि पहलगाम हमले में 5-7 आतंकी शामिल थे। इसके अलावा 2 स्थानीय लोगों ने भी इस हमले को अंजाम देने में आतंकियों की मदद की। इन स्थानीय मददगारों को पाकिस्तान में प्रशिक्षण मिला था। लश्कर-ए-तैयबा के आतंकी संगठन TRF ने इस हमले की जिम्मेदारी ली थी।
घबराहट में भारतीय अधिकारियों के खिलाफ प्रोपेगेंडा फैला रहा पाकिस्तान, भारत ने यूं दिया जवाब

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घबराहट में भारतीय अधिकारियों के खिलाफ प्रोपेगेंडा फैला रहा पाकिस्तान, भारत ने यूं दिया जवाब

वायुसेना के उप प्रमुख एयर मार्शल एसपी ढारकर के बारे में फर्जी खबर फैलाई गई कि उन्हें पाकिस्तान के खिलाफ युद्ध लड़ने से इन्कार करने के कारण पद से बर्खास्त कर दिया गया। जबकि उन्होंने अपना कार्यकाल पूरा कर लिया और इस साल 30 अप्रैल को सेवानिवृत्त हो गए। एयर मार्शल नर्मदेश्वर तिवारी ने वायुसेना के अगले उप प्रमुख के रूप में कार्यभार संभाला।


आईएसआई से जुड़े कुछ ट्रोल नेटवर्क फैला रहे झूठ (प्रतीकात्मक तस्वीर)

पहलगाम में नृशंस आतंकी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव के मद्देनजर सीमा पार मीडिया चैनलों और आईएसआई से जुड़े कुछ 'ट्रोल नेटवर्क' ने भारतीय सशस्त्र बलों के शीर्ष अधिकारियों को निशाना बनाते हुए फेक न्यूज प्रोपेगेंडा शुरू किया है।


उन्होंने यह झूठा नैरेटिव गढ़ने का कुत्सित प्रयास किया है कि पहलगाम हमले में कथित चूक के लिए शीर्ष भारतीय अधिकारियों को दंडित किया गया है। हालांकि इसके बाद, भारत की ओर से इस आरोप का जोरदार खंडन किया गया है।


दुष्प्रचार कर रहा पाकिस्तानएक भारतीय सरकारी अधिकारी ने कहा कि पाकिस्तान का हालिया फेक न्यूज प्रोपेगेंडा सीमा पार आतंकवाद के खिलाफ भारत के संयमित, लेकिन दृढ़ रुख के सामने उसकी हताशा का प्रमाण है। पारदर्शिता, पेशेवर ईमानदारी और संवैधानिक निगरानी में दृढ़ भारतीय सशस्त्र बल इस कुत्सित प्रयास से विचलित नहीं होंगे।

उन्होंने कहा कि पाकिस्तान के दुष्प्रचार का मुकाबला करने के लिए भारतीय साइबर निगरानीकर्ताओं और प्रतिष्ठानों ने त्वरित तथ्य-जांच का सहारा लिया है, ताकि शीघ्र खंडन जारी किया जा सके, पाकिस्तान-आधारित पोस्ट, चैनल एवं अकाउंट्स को ब्लाक किया जा सके और सशस्त्र बलों की मिशन-तैयारी के बारे में अफवाहों को खारिज किया जा सके।


झूठ फैलाने की कोशिश विफलकुछ पाकिस्तानी चैनलों और ट्रोल नेटवर्क ने आरोप लगाया कि रक्षा खुफिया एजेंसी के महानिदेशक लेफ्टिनेंट जनरल डीएस राणा को कथित चूक के बाद बर्खास्त कर दिया गया और अंडमान और निकोबार द्वीप समूह के काला पानी में निर्वासित कर दिया गया। जबकि, लेफ्टिनेंट जनरल राणा को अंडमान और निकोबार कमान के कमांडर-इन-चीफ के रूप में पदोन्नत किया गया था।

इसी तरह, पाकिस्तान स्थित कुछ इंटरनेट मीडिया हैंडल ने आरोप लगाया कि लेफ्टिनेंट जनरल एमवी सुचिंद्र कुमार को पहलगाम हमले से जुड़ी विफलताओं के कारण सेना की उत्तरी कमान से बाहर कर दिया गया। जबकि, लेफ्टिनेंट जनरल कुमार चार दशकों की विशिष्ट सेवा के बाद 30 अप्रैल, 2025 को सम्मानपूर्वक सेवानिवृत्त हो चुके थे।कमान में बदलाव की सूचना काफी पहले ही दे दी गई थी।
रूस की विक्टरी डे परेड में शामिल नहीं होंगे राजनाथ सिंह, पहले पीएम मोदी को जाना था मॉस्को; जानिए क्या है वजह

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जर्मनी पर सोवियत विजय की 80वीं वर्षगांठ के अवसर पर रूस में होने वाली विक्टरी-डे परेड में राजनाथ सिंह शामिल नहीं होंगे। पहलगाम आतंकवादी हमले को लेकर भारत व पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव के मद्देनजर उठाया गया है। बताया जा रहा है कि रक्षा राज्यमंत्री संजय सेठ वहां भारत का प्रतिनिधित्व करेंगे।

भारत व पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव के मद्देनजर लिया गया फैसला (फोटो: पीटीआई)

रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह रूस द्वारा नौ मई को मॉस्को में आयोजित विक्टरी डे परेड में शामिल नहीं होंगे और उनके स्थान पर रक्षा राज्यमंत्री संजय सेठ वहां भारत का प्रतिनिधित्व करेंगे। आधिकारिक सूत्रों ने शनिवार को यह जानकारी दी।


मॉस्को में नौ मई को आयोजित होने वाले समारोह में रक्षा राज्य मंत्री सेठ को भेजने का कदम पहलगाम आतंकवादी हमले को लेकर भारत व पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव के मद्देनजर उठाया गया है।


जर्मनी पर सोवियत विजय की याद में कार्यक्रमरूस ने द्वितीय विश्व युद्ध में जर्मनी पर सोवियत विजय की 80वीं वर्षगांठ के अवसर पर होने वाली विक्टरी-डे परेड के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को आमंत्रित किया था, लेकिन यह निर्णय लिया गया कि रक्षा मंत्री राजनाथ इसमें शिरकत करेंगे।

सूत्रों ने बताया कि अब रक्षा राज्यमंत्री संजय सेठ परेड में भारत का प्रतिनिधित्व करेंगे। रूस ने इस वर्ष विक्टरी डे परेड में भाग लेने के लिए कई मित्र देशों के नेताओं को आमंत्रित किया है।

प्रधानमंत्री मोदी पिछले वर्ष राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ वार्षिक शिखर सम्मेलन और कजान में आयोजित ब्रिक्स शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए दो बार रूस गए थे। इस वर्ष रूसी राष्ट्रपति के वार्षिक शिखर सम्मेलन में शिरकत के लिए भारत आने की उम्मीद है।
 इस बार होगा अंतिम फैसला', इशारों-इशारों में PM मोदी ने दी पाकिस्तान को खुली चेतावनी

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पीएम मोदी ने दुनिया को बता दिया है कि पहलगाम आतंकी हमले को अंजाम देने वाले आतंकियों और उनके आकाओं को ऐसी सजा मिलेगी जिसके उन्हें अंदाजा भी नहीं होगा। इसी बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को दिल्ली के हैदराबाद हाउस में अंगोला के राष्ट्रपति जोआओ मैनुएअल गोंकाल्वेस लौरेंको से मुलाकात की। दोनों नेताओं के बीच द्विपक्षीय बैठक भी हुई।

पहलगाम आतंकी हमले के बाद पीएम मोदी ने पाकिस्तान का बिना नाम लिए उसे सुनाई खरी-खरी।


पहलगाम आतंकी हमले (Pahalgam Terrorist Attack) के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आतंकियों का सफाया करने के लिए भारतीय सेना को खुली छूट दी है। पीएम मोदी ने दुनिया को बता दिया है कि पहलगाम आतंकी हमले को अंजाम देने वाले आतंकियों उनके आकाओं को ऐसी सजा मिलेगी जिसके उन्हें अंदाजा भी नहीं होगा।


पीएम मोदी ने अंगोला के राष्ट्रपित से की मुलाकात
इसी बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को दिल्ली के हैदराबाद हाउस में अंगोला के राष्ट्रपति जोआओ मैनुएअल गोंकाल्वेस लौरेंको से मुलाकात की। दोनों नेताओं के बीच द्विपक्षीय बैठक भी हुई। पीएम मोदी ने कहा कि मैं राष्ट्रपति लोरेंसू और उनके शिष्टमंडल का भारत में हार्दिक स्वागत करता हूं।


आतंकियों के खिलाफ होगी निर्णायक कार्रवाई इसी बीच पीएम मोदी ने पहलगाम आतंकी हमले के जिक्र भी किया। उन्होने कहा कि हम आतंकवादियों और उनके मददगारों के खिलाफ कठोर और निर्णायक कार्रवाई के लिए प्रतिबद्ध हैं। बॉर्डर पार आतंकियों के खिलाफ हमारी लड़ाई में समर्थन देने के लिए हम अंगोला का धन्यवाद करते हैं।
 अगर भारत ने पाकिस्तान पर हमला किया तो...', यूनुस सरकार ने पूर्व अधिकारी के बयान से झाड़ा पल्ला

अगर भारत ने पाकिस्तान पर हमला किया तो...', यूनुस सरकार ने पूर्व अधिकारी के बयान से झाड़ा पल्ला

 अगर भारत ने पाकिस्तान पर हमला किया तो...', यूनुस सरकार ने पूर्व अधिकारी के बयान से झाड़ा पल्ला


बांग्लादेश राइफल्स में पूर्व मेजर जनरल फजलुर रहमान ने चिकन नेक पर विवादित बयान दिया है। उन्होंने फेसबुक पर पोस्ट साझा करते हुए लिखा कि अगर भारत पाकिस्तान पर हमला करेगा तो बांग्लादेश को चिकन नेक पर हमला करके पूर्वोत्तर राज्यों पर कब्जा कर लेना चाहिए। वहीं अब यूनुस सरकार के मुख्य सलाहकार और विदेश मंत्रालय ने इस पर प्रतिक्रिया दी है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और बांग्लादेश की अंतरिम सरकार के सलाहकार मोहम्मद यूनुस। फाइल फोटो

HIGHLIGHTSभारत-पाकिस्तान तनाव के बीच बांग्लादेश के पूर्व मेजर जनरल का बयान।
यूनुस सरकार को दी चीन संग मिलकर 'चिकन नेक' पर हमले की सलाह।
बांग्लादेशी अधिकारी के बयान पर यूनुस सरकार ने तोड़ी चुप्पी।

भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव के बाद बांग्लादेश से भी लगातार तीखी प्रतिक्रिया सामने आ रही है। मोहम्मद यूनुस के बाद बांग्लादेशी सेना के रिटायर अधिकारी ने भी 'चिकन नेक' पर हमला करके उत्तर पूर्वी भारत पर कब्जा करने की सलाह दी है। हालांकि, यूनुस सरकार ने मेजर जनरल के बयान से खुद को पूरी तरह से अलग कर लिया है।


बांग्लादेश राइफल्स (बॉर्डर गार्ड्स बांग्लादेश) में मेजर जनरल रहे फजलुर रहमान ने यूनुस सरकार को मशवरा दिया। उनका कहना है कि अगर भारत ने इस्लामाबाद पर हमला किया तो बांग्लादेश को भारत के उत्तर पूर्वी हिस्से पर कब्जा कर लेना चाहिए।

फजलुर रहमान का बयान


फजलुर रहमान ने फेसबुक पर पोस्ट शेयर करते हुए लिखा-

अगर भारत पाकिस्तान पर हमला करता है तो बांग्लादेश को सभी पूर्वोत्तर राज्यों पर कब्जा कर लेना चाहिए। मुझे लगता है कि बांग्लादेश को चीन के साथ मिलकर संयुक्त सैन्य अभियान चलाना चाहिए।

यूनुस सरकार ने दी सफाईबांग्लादेश के एक वरिष्ठ अधिकारी ने फजलुर रहमान के बयान को सिरे से खारिज कर दिया है। यूनुस सरकार का पक्ष रखते हुए मुख्य सलाहकार शफीकुल आलम ने कहा कि फजलुर रहमान के बयान उनके निजी विचारों पर आधारिक है। यूनुस सरकार का इससे कोई वास्ता नहीं है।

बांग्लादेश के विदेश मंत्रालय ने अपने एक बयान में कहा -

यह टिप्पणी बांग्लादेश सरकार के विचारों को प्रतिबिंबित नहीं करती हैं। सरकार किसी भी रूप में इस तरह की बयानबाजी का समर्थन नहीं करती है।
पिलखाना नरसंहार की कर रहे हैं जांचबता दें कि मेजर जनरल फजलुर रहमान को 2009 के पिलखाना नरसंहार की जांच की जिम्मेदारी दी गई है। बांग्लादेश राइफल्स के मुख्यालय पर हुए इस हमले में सैन्य अधिकारी समेत 74 लोग मारे गए थे।