भगोड़े ललित मोदी की भारत वापसी मुश्किल! सबसे सुरक्षित देश की नागरिकता ली, विदेश मंत्रालय का आया रिएक्शन

 भगोड़े ललित मोदी की भारत वापसी मुश्किल! सबसे सुरक्षित देश की नागरिकता ली, विदेश मंत्रालय का आया रिएक्शन


Lalit Modi return to India ललित मोदी ने वनातु की नागरिकता हासिल कर ली है। इसका मतलब है कि ललित मोदी को स्वदेश लाना अब और मुश्किल हो गया है। इसको लेकर विदेश मंत्रालय का भी रिएक्शन सामने आया है। ललित मोदी ने लंदन स्थित भारतीय उच्चायोग के पास अपनी नागरिकता छोड़ने को लेकर आवेदन भेजा है। सरकार के कानून व नियमों के हिसाब से इस पर फैसला किया जाएगा।

Lalit Modi return to India ललित मोदी को पकड़ना हुआ मुश्किल। (फाइल फोटो)


 पूर्व उद्योगपति और इंडियन प्रीमियर लीग (आइपीएल) के संस्थापक ललित मोदी ने वनातु की नागरिकता हासिल कर ली है। इसका मतलब है कि ललित मोदी को स्वदेश लाना अब और मुश्किल हो गया है। इसको लेकर विदेश मंत्रालय का भी रिएक्शन सामने आया है।


भारतीय नागरिकता छोड़ने का आवदेन भेजा
15 वर्ष पहले भारतीय जांच एजेंसियों की आंखों में धूल झोंककर विदेश भाग चुके ललित मोदी ने न सिर्फ भारतीय नागरिकता छोड़ने का आवदेन भारत सरकार को भेजा है बल्कि प्रशांत महासागर में स्थित एक छोटे से द्वीपीय देश वनातु की नागरिकता भी ले ली है। यह बात शुक्रवार को भारतीय विदेश मंत्रालय ने स्वीकार की है।


क्या बोला विदेश मंत्रालय?भारत में आर्थिक अपराध करके विदेश जाने वाले अन्य उद्योगपतियों जैसे विजय माल्या, मेहुल चोकसी और नीरव मोदी को भी स्वदेश लाने की कोशिशों का अभी तक कोई नतीजा नहीं निकल पाया है। अब विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा,


ललित मोदी ने लंदन स्थित भारतीय उच्चायोग के पास अपनी नागरिकता छोड़ने को लेकर आवेदन भेजा है। सरकार के कानून व नियमों के हिसाब से इस पर फैसला किया जाएगा। हमें यह भी पता चला है कि उसने वनातु की नागरिकता ले ली है, लेकिन हम भारतीय कानून के मुताबिक उसे स्वदेश लाने की कोशिश जारी रखेंगे।
आस्ट्रेलिया के पूर्व में स्थित है वनातु

वनातु आस्ट्रेलिया के पूर्व में स्थित एक द्वीपीय देश है। यहां सिर्फ 1.30 लाख डालर निवेश करने पर नागरिकता ली जा सकती है। अगर पति व पत्नी दोनों नागरिकता लेते हैं तो संयुक्त निवेश राशि में काफी बड़ी छूट मिलती है।

2010 में भारत छोड़कर भागे थे ललित मोदीबता दें कि ललित मोदी पहले भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) के उपाध्यक्ष रह चुके हैं। उनपर हेराफेरी, मनी लॉन्ड्रिंग और विदेशी मुद्रा प्रबंधन अधिनियम 1999 (फेमा) का उल्लंघन करने का आरोप है। अनधिकृत फंड ट्रांसफर सहित वित्तीय कदाचार के लिए जांच के दौरान उन्होंने 2010 में भारत छोड़ दिया था।

Share this

Related Posts

Previous
Next Post »